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बड़ा खुलासा: मेटा (Meta) की छंटनी में उन कर्मचारियों को भी निकाला गया, जो यूज़र की गोपनीयता जोखिमों पर नज़र रखते थे

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Posted On:Friday, October 24, 2025

मुंबई, 24 अक्टूबर, (न्यूज़ हेल्पलाइन) फेसबुक, इंस्टाग्राम और व्हाट्सएप की मूल कंपनी मेटा (Meta) द्वारा हाल ही में की गई व्यापक छंटनी के संबंध में एक चिंताजनक खुलासा सामने आया है। विभिन्न मीडिया रिपोर्ट्स और इंटरनल मेमो के अनुसार, कंपनी ने उन प्रमुख कर्मचारियों को भी नौकरी से हटा दिया है जिनकी प्राथमिक ज़िम्मेदारी यूज़र डेटा सुरक्षा और गोपनीयता जोखिमों (User Privacy Risks) की निगरानी करना थी। यह निर्णय ऐसे समय में आया है जब डेटा सुरक्षा और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) से जुड़ी नैतिक चिंताओं को लेकर तकनीकी दिग्गजों पर वैश्विक दबाव लगातार बढ़ रहा है।

मुख्य रूप से 'कम प्रदर्शन' के नाम पर छंटनी

मेटा के सीईओ मार्क ज़ुकरबर्ग ने कंपनी की हालिया छंटनी (जनवरी-फरवरी 2025 में 5% या लगभग 3,000-3600 कर्मचारियों को हटाने की योजना) को मुख्य रूप से 'खराब प्रदर्शन' (Low Performance) और कंपनी की कार्यक्षमता बढ़ाने के प्रयासों का हिस्सा बताया है। ज़ुकरबर्ग ने परफॉर्मेंस मैनेजमेंट के स्तर को बढ़ाने और कम प्रदर्शन करने वालों को तेज़ी से बाहर करने पर ज़ोर दिया है।

हालांकि, कंपनी के इस कदम से आंतरिक रूप से यह सवाल उठ रहे हैं कि क्या लागत में कटौती और AI-आधारित भूमिकाओं पर ध्यान केंद्रित करने की जल्दबाजी में उन महत्त्वपूर्ण टीमों को भी कमज़ोर किया जा रहा है जो यूज़र के हितों की रक्षा करती हैं।

यूज़र डेटा सुरक्षा पर संभावित प्रभाव

वे कर्मचारी जो यूज़र डेटा की गोपनीयता (Privacy) और जोखिमों की निगरानी करते थे, वे कंपनी की नीतियों को सरकारी नियमों, जैसे GDPR (यूरोप में) और अन्य अंतर्राष्ट्रीय डेटा सुरक्षा कानूनों के अनुरूप बनाए रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते थे।

जवाबदेही में कमी: इन कर्मचारियों को हटाने से मेटा के प्लेटफार्मों पर गोपनीयता उल्लंघनों (Privacy Violations) और डेटा लीकेज को पकड़ने और रोकने की क्षमता कमज़ोर हो सकती है।

AI सुरक्षा चिंताएं: मेटा अपने AI इंफ्रास्ट्रक्चर में बड़े पैमाने पर निवेश कर रहा है। यूज़र डेटा की निगरानी करने वाले विशेषज्ञों की अनुपस्थिति में, AI टूल के विकास और उपयोग में अनपेक्षित डेटा सुरक्षा जोखिम पैदा हो सकते हैं।

नियामक दबाव: मेटा पहले ही प्राइवेसी पॉलिसी और प्रतिस्पर्धा-विरोधी हरकतों को लेकर नियामक संस्थाओं, जैसे CCI (Competition Commission of India), से भारी जुर्माने और आलोचना का सामना कर चुका है। गोपनीयता टीमों में कटौती से भविष्य में कानूनी और नियामक जटिलताएं बढ़ सकती हैं।

AI और नई भर्तियों पर ज़ोर

छंटनी के इस दौर के बावजूद, मेटा सक्रिय रूप से मशीन लर्निंग इंजीनियरों और अन्य AI-आधारित महत्वपूर्ण भूमिकाओं के लिए भर्ती पर ध्यान केंद्रित कर रहा है। यह बदलाव मेटा के आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस में बड़ा निवेश करने और कंपनी के बिज़नेस मॉडल को भविष्य के अनुरूप ढालने की ज़ुकरबर्ग की व्यापक रणनीति का हिस्सा है।

संक्षेप में, मेटा द्वारा डेटा गोपनीयता जोखिमों की निगरानी करने वाले कर्मचारियों को नौकरी से निकालना एक दोधारी तलवार साबित हो सकता है। यह कदम कंपनी को अपने वित्तीय लक्ष्यों को पूरा करने में मदद कर सकता है, लेकिन यह लंबे समय में यूज़र के भरोसे और नियामक संस्थाओं के साथ कंपनी के संबंधों को गंभीर रूप से खतरे में डाल सकता है।


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